प्रकाश राज ने मनोरंजन माफिया पर साधा निशाना
प्रकाश राज कहते हैं, ‘सिनेमा एक भाषा है। यह नदी की तरह थी और कलकल बह रही थी, लेकिन कुछ लोगों ने उसे रोक दिया। उन्होंने इसके लिए शर्तें रखनी शुरू कर दीं कि आप इसे सिर्फ सिनेमाघरों में ही दिखाना चाहिए। वो ये सोचने लगे कि कहानी लिखना है तो सिर्फ ढाई घंटे के लिहाज से। हर कोई रोक रहा था कि आप कोई कहानी को पहले टीवी पर रिलीज नहीं कर सकते। लेकिन एक बार यह महामारी आई और इसने इस माफिया को खत्म कर दिया। आप देखिए कि जो बनावटीपन है वो धीरे-धीरे खत्म हो रहा है। लोगों को अपनी सोच से आगे जाना पड़ा और अब कॉन्टेंट के लिए ये माध्यम आ गया।’
वेब सिरीज़ मुखबिर की कहानी
अपनी जासूसी-थ्रिलर ‘मुखबिर’ के बारे में बात करते हुए प्रकाश राज कहते हैं, ‘हम इसमें 1960 के दशक की एक अनकही कहानी के बारे में बात कर रहे हैं, जब मैं पैदा भी नहीं हुआ था। आज 2022 में अगर मैं इस देश में सुरक्षित हूं तो इसके लिए कहीं न कहीं कोई गुमनाम हीरो ही जिम्मेदार रहा होगा। क्या हम कभी इसके बारे में जान पाते हैं? ऐसी बहुत सी चीजें हैं जो एक देश को चलाती हैं। यह कभी एक व्यक्ति, या एक विचारधारा, या एक पार्टी, या एक नेता नहीं होता है। हर आदमी देशभक्त है और हर आदमी समय के हिसाब से जरूरी है। उनके योगदान कई तरह के हैं। इस कहानी की इस सोच ने मुझे इसके लिए प्रेरित किया।’
शुक्रवार को रिलीस होगी मुखबिर
‘मुखबिर’ वेब सीरीज में प्रकाश राज के साथ ज़ैन खान दुर्रानी और आदिल हुसैन भी प्रमुख भूमिकाओं में हैं। शिवम नायर और जयप्रद देसाई के डायरेक्शन में बनी यह सीरीज 11 नवंबर से Zee5 पर स्ट्रीम होगी।